boltBREAKING NEWS

शरद पूर्णिमा के साथ ही पुष्कर सरोवर कार्तिक स्नान शुरू, कोरोना  के कारण श्रदालुओं की भीड़ नहीं आई नजर

शरद पूर्णिमा के साथ ही पुष्कर सरोवर कार्तिक स्नान शुरू, कोरोना  के कारण श्रदालुओं की भीड़ नहीं आई नजर

 अजमेर ( हलचल)। तीर्थ नगरी पुष्कर में शनिवार शरद पूर्णिमा के स्नान के साथ ही कार्तिक स्नान शुरू हो गया।  अलसुबह से पवित्र सरोवर के मुख घाटों पर श्रद्धालुओं ने स्नान करना शुरू कर दिया जो आज देर शाम तक चलता रहेगा। श्रदालुओं ने  पवित्र सरोवर में आस्था की डुबकी लगाकर दान पुण्य अर्जित किया । 
कोरोना महामारी के चलते उम्मीद से कम श्रदालु घाटों पर स्नान के लिए नजर आए। प्रतिवर्ष शरद पूर्णिमा को श्रदालुओं की पवित्र सरोवर के सभी घाटों पर भारी भीड़ नजर आती थी, तो वही आज कोरोना महामारी के कारण मुख्य घाटों के अलावा अन्य घाटों पर  काफी कम संख्या में श्रद्धालु नजर आये। 
सरोवर के मुख्य घाटों के साथ-साथ मंदिरों, बाज़ारों में श्रद्धालुओं की चहल-पहल यूं तो सामान्य दिनों से कुछ ज्यादा नजर आई फिर भी कार्तिक स्नान के मद्देनजर अपेक्षाकृत श्रद्धालु तीर्थराज पुष्कर नहीं पहुंचे। मंदिरों की नगरी में शरद पूर्णिमा के उपलक्ष में चंद्रमा की रोशनी में खीर बनाकर रात्रि में भगवान की आरती के पश्चात भक्तों में खीर का प्रसाद वितरण किया गया। आज पूर्णिमा स्नान के साथ सरोवर  में कार्तिक स्नान का आरंभ हो गया है। एक  माह तक चलने वाले धार्मिक स्नान का समापन 30 नवंबर को कार्तिक पूर्णिमा के महास्नान के साथ होगा। इस बीच कार्तिक एकादशी से कार्तिक  पूर्णिमा तक पुष्कर में स्नान व दान का विशेष धार्मिक महत्व  होने के चलते देशभर से श्रदालु उमड़ेंगे।

ब्रह्माजी की सजी विशेष झांकी

इधर शरद पूर्णिमा के उपलक्ष में 30 अक्टूबर  को जगत् पिता श्रीब्रह्मा जी की विशेष झांकी सजाई गई इस अवसर पर मंदिर परिसर को विशेष फूलों से सजाया गया ब्रह्मा जी का विशेष श्रृंगार  कर आकर्षक झांकी सजाई गई। 

पुष्कर में नए रंगजी मन्दिर के खुले  मुख्यद्वार 

कोविड —19 के कारण पिछले सात माह से  नए रंगजी मन्दिर का आम दर्शनार्थियों के लिए बन्द मुख्यद्वार शनिवार को सुबह सवा आठ बजे शुभ मुहूर्त और वैदिक पूजा अर्चना के साथ खोल दिया गया।
मन्दिर व्यवस्थापक सत्यनारायण रामावत ने बताया कि सरकारी गाइड लाइन के अनुसार दर्शनार्थियों को दर्शन की अनुमति दी जा रही है । इसके लिए सेनिटाइजर, 6 फुट की दूरी, वन वे सहित एहतियात बरते जा रहे हैं।
बताया गया है कि पिछले 20 मार्च से मन्दिर में आम दर्शनार्थियों का प्रवेश रोक दिया गया था। जो आज शरद पूर्णिमा के पावन अवसर पर शुभ मुहूर्त के साथ खोल दिया गया। मन्दिर खुलने से पूर्व दर्शनार्थियों की भीड़ लग गई जिन्हें मन्दिर खुलने के बाद सोशल डिस्टेंस के साथ सेनिटाइजर करके दर्शन करवाये ।

अन्तरर्राष्ट्रीय पुष्कर पशु मेला पहले ही हो गया था रद्द 
कोरोना महामारी के चलते तीर्थराज पुष्कर का अन्तरर्राष्ट्रीय पशु मेला एवं पुष्कर मेला पहले ही शासन व प्रशासन स्तर पर लिए गए निर्णय के बाद रद्द कर दिया गया था। पशु मेले में पूर्व और पश्चिम संस्कृति का पुष्कर में मिलन होता था। हजारों विदेशी पर्यटक पुष्कर मेले का आनन्द लेने, पुष्कर के रेतिले धोरों में दिन और रात बिताने शरद काल में अजमेर आया करते थे और यहां अनेक पर्यटक तो दीपावली व होली करके ही लौटा करते थे। विगत फरवरी माह 20  से कोविड 19 महामारी के चलते अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर पर्यटकों के लिए जारी एडवाइजरी के कारण इस बार विदेशी पर्यटकों का नगण्य के बराबर ही अजमेर पहुंचना हुआ है।